ग़ाज़ा में उठी आवाज़ – ‘हमें खाना चाहिए’, इज़राइल के साथ!

ग़ाज़ा में उठी आवाज़ – ‘हमें खाना चाहिए’, इज़राइल के साथ!

ग़ाज़ा से इस वक्त चौंकाने वाली तस्वीरें सामने आ रही हैं। जहाँ एक ओर इज़राइल और हमास के बीच जंग जारी है, वहीं अब ग़ाज़ा के आम लोग खुद सड़कों पर उतर आए हैं – लेकिन इस बार विरोध हमास के खिलाफ है। भीषण भूख, तबाही और बेरोज़गारी के बीच ग़ाज़ा के नागरिक अब आवाज़ उठा रहे हैं – “हमें खाना चाहिए!” भीड़ में कुछ लोग यहां तक कह रहे हैं – “हम इज़राइल के साथ हैं।” ग़ाज़ा में हो रहे इस बड़े बदलाव का कारण है हमास की नाकामी – जो न तो लोगों को सुरक्षा दे पाया, न ही भोजन। सवाल अब ये है – क्या ग़ाज़ा की जनता की ये बगावत हमास की हुकूमत को कमजोर कर देगी? इस वक्त ग़ाज़ा की सड़कों पर सिर्फ नारे नहीं, बल्कि एक बड़ा जनसंकल्प गूंज रहा है – ज़िंदगी चाहिए, युद्ध नहीं। क्या यह ग़ाज़ा के भविष्य की नई शुरुआत है?

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