गोमो रेलवे स्टेशन पर उस वक्त हड़कंप मच गया जब ठेका मजदूरों ने काम छोड़ धरना शुरू कर दिया। मांगें थीं — वेतन बढ़ाया जाए, पीएफ दिया जाए, और सबसे ज़रूरी — उनकी जिंदगी की कद्र की जाए। मजदूरों ने कहा – “हम गुजरती हुई ट्रेन में पानी भरते हैं,

ज़रा सोचिए… ट्रेन रुकी भी नहीं होती, और हमें पाइप जोड़कर पानी देना होता है। ये काम मज़ाक नहीं, जानलेवा होता है!” ये सभी मजदूर एम.एस. सपोर्ट सर्विस प्राइवेट लिमिटेड के तहत कार्यरत हैं। हर महीने सिर्फ 7,000 रुपये में स्टेशन की पानी सप्लाई की जिम्मेदारी संभालते हैं।