आखिर कब मिलेगा आलीजा खातून को इंसाफ? जी हां यह एक बड़ा प्रश्न है। कब तक चढ़ती रहेंगी बेटियां दहेज की बलि दहेज एक ऐसा दानव है जो बिना जात पात के भेद भाव को सबको निगलते जा रही है घटना सितंबर महीने 2024 की है रियाजउद्दीन शाह जो कि कालूडीह ,ईदगाह मोहल्ले, गोमो के रहने वाले हैं अपनी बेटी अलिजा खातून की निकाह महज़ दो साल पहले बशारत खान के बेटे नौशाद खान के साथ हुई थीं जो कि घनसाडीह आंबेडकर स्कूल के पास जो कि केंदुआ डीह थाना के अंतर्गत आता है के रहने वाले हैं ।

शादी के बाद से ही दहेज 5 लाख रुपए की मांग हो रही थी लड़की वाले मांग पूरी नहीं कर पाने का दंड बेचारी अलिजा भुगतते रही उस पर कई सितम किए गए और अंततः उसे मारकर फंदे पर लटका दिया गया ताकि उसे खुदकुशी का मामला बनाया जा सके । लड़की की मां फातमा खातून आज भी अपनी बेटी के ग़म से ऊबर नहीं पा रही है केंदुआडीह थाना के चक्कर लगती है इस उम्मीद से की अपने बेटी के हत्यारों को सजा दिला सके ताकि और कोई मां इस सदमे में न पड़े। इस मामले में जिन जिन लोगों को दोषी ठहराया गया था उनमें सलीम खान जिसका वॉरेंट कोर्ट ने निकला आज भी कानून की पहुंच से बाहर है देखिए क्या कह रही है लड़की की मां, एक ही सवाल है आखिर कब मिलेगा आलीजा खातून के हत्यारों को सजा? प्रस्तुत है सहयोगी संदीप दत्ता के साथ पंकज सिन्हा की रिपोर्ट धनबाद से।