मुरादाबाद से सपा सांसद डॉ एसटी हसन ने गरबा आयोजन में 60 देशों के राजदूतों को बुलाये जाने पर सवाल खड़ा किया है वो भी तो अलग-अलग मजहबो के लोग थे, वही सपा सांसद ने इतने भर से नही रुके और बोले कि हम अपनी बहन-बेटियों की नुमाइश क्यो उनके सामने करते हैं हमे इस पर एतराज है। दरअसल पिछले कई दिनों से मध्यप्रदेश सहित कई प्रदेशों में आयोजित गरबा पंडालों में मुस्लिम युवकों का अपनी पहचान छिपा कर घुसने पर हिन्दू संगठनों के कार्यकर्ताओं द्वारा मारपीट करके इसे जिहाद का नाम दिया है, इन घटनाओं के बाद गरबा पंडालों के बाहर दूसरे धर्म के लोगो पर प्रतिबंध लगाया गया है। इन घटनाओं को लेकर मुरादाबाद से सपा सांसद डा एसटी हसन ने अपनी प्रतिक्रिया देते हुए मुस्लिम युवकों को कड़े शब्दों में सन्देश दिया है ओर कहा है कि वो लोग एक धार्मिक आयोजन में जाते क्यों है उन्हें इससे बचना चाहिए,और अगर गलती से कुछ युवक पहुँच गए है तो उन्हें वहा से हटा दे मारने का हक किसी को नही है और बिना इजाजत ऐसे कार्यक्रमों से परहेज करना चाहिए, वही डॉ एसटी हसन ने महाराष्ट्र सरकार के उस फैसले का भी विरोध किया है जिसमे आज से सरकारी विभागों में फोन उठाने पर हेलो की जगह अब वन्देमातरम अनिवार्य कर दिया गया है, डॉ हसन का कहना है कि देखिए ये बहुत पुराना डिसपीयूट है, इस्लाम अल्लाह के अलावा किसी की इबाबत करने की इजाजत नही देता है, इस्लाम ये मानता है अल्लह के अलावा मुसलमान किसी की पूजा नही कर सकते है। इस डिसपीयूट को हम लोग बहुत दिन से झेल रहे है, जो अच्छे मुसलमान है जो ईमान वाले मुसलमान है वो कभी भी जमीन की पूजा नही करते, हम केवल अल्लाह की इबाबत करते है।
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