रानीगंज के सेंको गोल्ड एंड डायमंड शोरूम में डकैती कांड के तीन सप्ताह बाद आखिरकार जामुड़िया थाना क्षेत्र के श्रीपुर फाड़ी के प्रभारी मेघनाथ मंडल ने पुलिस के जाल में फंसे पांच डकैतों में से तीन सोनू सिंह, सूरज सिंह और विवेक चौधरी के साथ घटना स्थल पर पहुंचे। उन्होंने इस डकैती कांड मे सात लुटेरों के साथ अकेले कैसे अकेले लोहा लिया। डकैतो ने हिंदी फिल्म के तर्ज पर उस दिन के घटना को कैसे अंजाम दिया इसको लेकर पुलिस अधिकारीयों के द्वारा इस डकैती कांड को लेकर नाटकीय रूपांतर
शूटिंग की गई। इसको लेकर एक तरफ बिजली के खंभा के पीछे से पुलिस इंस्पेक्टर मेघनाथ मंडल तो दूसरी तरफ डकैतों का रखकर ग्राफिक की गई। इस दिन रानीगंज थाना के पुलिस अधिकारी अजय बाग और पंजाबी मोड़ फाड़ी प्रभारी आईसी रवीन्द्रनाथ दोलुई के साथ बड़ी संख्या में पुलिस बल और सीआईडी विभाग के पुलिस अधिकारियों ने उस दिन की सभी घटनाओं का रीक्रिएशन किया। डकैतो ने घटना को कैसे अंजाम दिया और उस अधिकारी ने अकेले कैसे मुकाबला किया। पुलिस डकैतों का पीछा कैसे किया सभी मुद्दों को आपराधिक समूह के सदस्यों के साथ नाटक के रूप में घटना स्थल पर प्रस्तुत किया गया। बुधवार को दोपहर करीब तीन बजे पुलिस का एक बड़ा दल घटनास्थल पर पहुंचा और पुलिस प्रशासन घटना स्थल के आसपास इस विशेष सीआईडी टीम ने संचालन किया। इस घटना में कैसे डकैतों को गोली लगी , कैसे डकैतों ने पुलिस के साथ मुठभेड़ किया। पुलिस अधिकारी को घेरकर गोलीबारी शुरू कर दी, ये सब बातें दिखाई गईं। हालांकि आज के इस नाटककीय जांच पड़ताल को लेकर एकबार फिर से यहां सनसनी फैलगई। वही स्थानीय लोगों का कहना है कि जिस प्रकार की डकैती की दुस्साहसिक कांड यहां हुआ था उसे अभी भी लोग भूले नहीं।