नर्मदा पुरम जिले के स्वास्थ बिभाग की बड़ी मिलीभगत से बहुत लंबे समय से शोभापुर स्थित एमआर द्वारा नीरज गुप्ता के नाम से तेजश्वनी हॉस्पिटल संचालित किया जा रहा था, बता दे की इसमें सभी प्रकार की बीमारियों के इलाज की जिम्मेदारी ली जाती थी, साथ ही साथ आयुष्मान योजना के लाभ दिलाने की बात भी की जाती थी।सीएमएचओ के आदेश पर सोहागपुर बीएमओ रेखा गोर द्वारा जाँच कर तेजश्वनी हॉस्पिटल शोभापुर को सील कर दिया गया। बता दे कि स्वास्थ बिभाग की बड़ी मिली भगत से बहुत लंबे समय से एमआर द्वारा तेजश्वनी हॉस्पिटल संचालित की जा रही थी, जिसमे न ही कोई एमबीबीएस डॉक्टर था और न ही इलाज की कोई पर्याप्त सुविधाएं उसके बाद भी हर तरह के बीमारी के इलाज ओर आयुष्मान योजना का लाभ दिलाने की गारंटी ली जाती थी, सीएमएचओ द्वारा 17 अगस्त को तेजस्वनी हॉस्पिटल संचालक को 7 दिन का नोटिस दिया गया, जिसमे नर्सिंग होम एक्ट का उल्लघन के संबंध में बात की गई थी। जिसमे कहा गया था कि सात दिवस अबधि किसी भी हॉस्पिटल में नये मरीज को भर्ती न करे इसके पश्चात् हॉस्पिटल संचालित किया जा रहा था। बताते चले की
इसके पहले तेजश्वनी हॉस्पिटल संचालक द्वारा नवीन रजिस्ट्रेशन हेतु आवेदन प्रस्तुत करने के उपरांत निरीक्षण दल द्वारा 10 मई को किया गया था जिसमे बहुत सी कमी पाई गई थी, तेजस्वनी हॉस्पिटल के निरीक्षण के दौरान कोई भी चिकित्सक उपस्थित नहीं थे, वही अस्पताल के बाहर डिस्पले बोर्ड में दर्शाई गई सोनाग्राफी, अस्थिरोग विशेषज्ञ एवं अन्य सुविधा अस्पताल में उपलब्ध नहीं है। साथ ही आयुष्मान भारत में जनरल मेडिसिन के मरीज के पेसेंट आईसीयू में भर्ती कर क्लेम दर्शाया गया है जबकि संस्था में एम. बी.बी.एस. चिकित्सक का एमओयू पर हस्ताक्षर दस्तावेज पाये गये।, अस्पताल भवन की स्थिति जीर्ण-शीर्ण है जिसमें जनरल वार्ड, टीनशेड में है, टॉयलेट की व्यवस्था भी उपलब्ध नहीं है।, हॉस्पिटल में समस्त मरीजों को एक ही उपचार दिया जाना दर्शाया गया है। संचालक द्वारा बताया गया कि विगत दो दिवस में कोई भी मरीज भर्ती नहीं हुआ जबकि भौतिक परीक्षण के दौरान लीवर मरीज दो दिवस से भर्ती होना पाया गया। आवेदन में आक्सीजन सेंटर पाईप लाईन बताई गई जबकि भौतिक सत्यापन के दौरान सेंटर पाईपलाईन नही पाई गई।