औरंगाबाद – पूर्ब प्रधानाध्यापक पर शीशम का पेड़ बेचने का लगा आरोप पूर्व में ही प्रधानाध्यापक पर …

औरंगाबाद – पूर्ब प्रधानाध्यापक पर शीशम का पेड़ बेचने का लगा आरोप पूर्व में ही प्रधानाध्यापक पर …

गौरतलब है कि औरंगाबाद के हसपुरा प्रखंड मे स्थित देवचंद सिंह उच्च विद्यालय डिंडीर में एक दर्जन हरे पेड़ कटवाकर बेच देने का आरोप स्थानीय ग्रामीणों के द्वारा लगाया गया है जिसको लेकर ग्रामीणों ने इसकी शिकायत हसपुरा सीओ के पास किया लेकिन सीओ ने ग्रामीणों का आवेदन लेने से इनकार करते हुए वन विभाग के पास शिकायत करने का सलाह दीया हालांकि पेड़ काटा गया जमीन वन विभाग का नहीं बल्कि आम गैरमजरूआ है इसके वाजुद्ध भी सीओ खामोश है तो यह अपने आप मे एक बड़ी सवाल है आखिर क्यों सीओ बन विभाज के सर पर ढिकार आखिर क्यों फ़ौरन चाह रहे यह आप मे हैरान कर देने वाली बात है . जिससे नाराज ग्रामीणों ने स्कूल प्रांगण में पूर्व प्रधानाध्यापक तथा सीओ के खिलाफ जमकर प्रदर्शन किया है इस कार्यक्रम का नेतृव बृज किशोर कुमार ने किया .प्रदर्शन कर रहे ग्रामीण डॉ जमींदार सिंह,डोमन राम,विश्वकर्मा मिस्त्री,बबन मिस्त्री,सहित दर्जन लोगो का कहना था कि पूर्व प्रधानाध्यापक महेश प्रसाद सिन्हा ने ग्रामीणों को गुमराह कर आम गैर मजरुआ जमीन से एक दर्जन हरे पेड़ को काटकर बेच दिया।हद तो तब हो गई जब पेड़ की कटाई जेसीबी मसीन से हो रहा था उसी समय सीओ के पास कई ग्रामीण शिकायत लेकर पहुँचे लेकिन बड़े नेता जी के पैरवी के कारण सीओ ने वन विभाग के पास शिकायत करने की हवाला देते हुए शिकायत दर्ज करने से मना कर दिया जब इस मामले को लेकर कुछ मीडिया टीम के द्वारा प्रभारी सीओ डॉ सोभा कुमारी से टेलीफोनिक बात किया गया तो उन्होंने बताया कि हमारे पास कोई आवेदन नही आया है, और यह आरोप बेबुनियाद है. इधर पूर्व प्रधानाध्यापक महेश प्रसाद सिन्हा ने कहा कि बिद्यालय में बाउंड्री बॉल निर्माण होना है इसके वजह से पेड़ काटा गया है. गौरतलब हो कि देवचंद सिंह उच्च विद्यालय डिंडिल लगातार विवाद के घेरे में देखा जा रहा है .कई महीने पूर्व में भी ग्रामीण विद्यालय में बैठक कर विद्यालय के पूर्व प्रधानाध्यापक महेश प्रसाद सिन्हा पर विद्यालय में आए बच्चो के छात्रवृत्ति पोशाक व साइकिल राशि का लगभग 40 लाख रुपए गमन करने का आरोप बिद्यालय के सहायक शिक्षक रबिन्द्र कुमार सिन्हा व बरिये शिक्षक अजय शर्मा द्वारा आरोप लगाया गया था इसकी सूचना शिक्षा विभाग को भी आवेदन के माध्यम से दिया गया था. ऐसे संगीन आरोप के बाद भी प्रधानाध्यपक पर आज तक कोई कार्रवाई नहीं हो सका. यह मामला शिक्षा विभाग की पोल खोल कर रख दिया है की इस विभाग में कितना भ्रष्टाचार है. ग्रामीणों ने जिला प्रसासन से गुहार लगाया है कि इस मामले की निष्पक्ष जांच कर दोषों पाये जाने वालो पर कड़ी से कड़ी करवाई की जाये बाईट:- 1 , 2 ग्रामीण

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