भारतीय प्रतिस्पर्धा आयोग (CCI) ने ऑनलाइन फूड डिलीवरी कंपनियों जोमैटो और स्विगी को प्रतिस्पर्धा कानूनों के उल्लंघन का दोषी पाया है। जांच में खुलासा हुआ कि ये कंपनियां चुनिंदा रेस्टोरेंट पार्टनर्स को फायदा पहुंचाने वाली गतिविधियों में शामिल थीं, जिससे बाजार में प्रतिस्पर्धा सीमित हो गई और नए खिलाड़ियों के प्रवेश में बाधा आई। इसके साथ ही, ये प्लेटफॉर्म्स रेस्टोरेंट पर एक समान मूल्य निर्धारण बनाए रखने का दबाव डालते थे, जिसमें जोमैटो गैर-अनुपालन पर दंडात्मक प्रावधान लागू करता था और स्विगी संभावित रैंक डाउनग्रेड की चेतावनी देता था।
यह जांच नेशनल रेस्टोरेंट एसोसिएशन ऑफ इंडिया की 2022 की शिकायत के बाद शुरू हुई थी। इस खुलासे के बीच, जोमैटो के शेयरों में 3% की गिरावट देखी गई, जबकि स्विगी ने इस पर कोई टिप्पणी नहीं की।इसी समय, स्विगी अपने आईपीओ की तैयारी में है, जिसे 3.59 गुना सब्सक्रिप्शन प्राप्त हुआ। इस आईपीओ का प्राइस बैंड 371-390 रुपये प्रति शेयर तय किया गया है, और कंपनी का लक्ष्य इससे 11,327 करोड़ रुपये जुटाना है।