इस वर्ष विश्वकर्मा पूजा 17 सितंबर शनिवार को जाएगी,इसको लेकर बाजारों में रौनक देखी जा रही है, साज-सजावट सहित पूजा संबंधित सामानों की दुकान सज धजकर तैयार देखी जा रही है। पूजा के दिन कन्या संक्रांति भी है। ज्योतिष शास्त्र के अनुसाार, सृष्टि की रचना ब्रह्मा जी ने की थी, लेकिन इसे सजाने-संवारने का काम भगवान विश्वकर्मा ने ही किया था। इसलिए इन्हें सृष्टि का सर्वोच्च इंजीनियर कहा जाता है। विश्वकर्मा ने ब्रह्मा जी के सातवें पुत्र के रूप में जन्म लिया था। विश्वकर्मा पूजा के दिन इनकी विधिवत पूजा बहुत फलदायी मानी जाती है। इस दिन शुभ मुहूर्त में विश्वकर्मा जी की पूजा करने से इंसान की हर समस्या दूर होती है। इस दिन मशीनों,कल पुर्जे,वाहनों की विषेस रूप से पूजा की जाती है।
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