पांच राज्यों के चुनाव नतीजे आने के तुरंत बाद ही कांग्रेस ने विपक्षी इंडिया गठबंधन के नेताओं की 6 दिसंबर को बैठक बुला ली थी. इस बैठक के लिए बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार, पश्चिम बंगाल की सीएम ममता बनर्जी, झारखंड के मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन और यूपी के पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव समेत कुछ नेताओं ने ना कर दी थी. कांग्रेस एक्टिव हुई और सभी नेताओं की मौजूदगी सुनिश्चित करने की जिम्मेदारी राष्ट्रीय जनता दल (आरजेडी) के प्रमुख लालू यादव को को सौंप दी. हेमंत सोरेन वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए बैठक से जुड़े और बाकी नेता बैठक में मौजूद रहे लेकिन इस दौरान लालू यादव और नीतीश कुमार के बीच दूरियां भी साफ नजर आईं. लालू यादव और नीतीश कुमार के बीच कोई बातचीत भी नहीं हुई. ऐसे में यह सवाल उठ रहा है कि क्या वाकई लालू और नीतीश के बीच दूरियां बढ़ गई हैं? ये सवाल केवल इसलिए नहीं उठ रहे कि इंडिया गठबंधन की बैठक के दौरान कोई बातचीत नहीं हुई, इसलिए भी उठ रहे हैं क्योंकि इंडिया गठबंधन की शुरुआती तीन बैठकों में ये दोनों नेता साथ-साथ ही नजर आए हैं